एक सुरक्षित दुनिया बनाने के लिए, हम साइबरसिक्यूरिटी कार्यबल को मज़बूत बनाने की दिशा में काम कर रहे हैं.
पिछले साल दुनिया भर में सायबर हमलों में 38% की बढ़ोतरी हुई, जिसने ज़रूरी इन्फ़्रास्ट्रक्चर को बड़े जोखिम में डाल दिया. जबकि, दुनिया भर में 2025 तक साइबरसिक्यूरिटी से जुड़ी नौकरियों के 34 लाख पद खाली रहने का अनुमान है. हम साइबरसिक्यूरिटी में करियर बनाने का मौका देकर साइबरसिक्यूरिटी कार्यबल के कौशल को बेहतर बनाने में मदद कर रहे हैं. इस क्षेत्र में करियर बनाने के बारे में सोचने वालों के बैकग्राउंड या अनुभव को अहमियत नहीं दी जा रही है. हम अपनी विशेषज्ञता शेयर करके, करियर को बेहतर बनाने के नए मौके देकर, और उद्योगों की मज़बूत साझेदारी के ज़रिए, सायबर सुरक्षा से जुड़े कर्मचारियों को आने वाले समय में सशक्त कर सकते हैं. इससे ज़रूरी इन्फ़्रास्ट्रक्चर को सुरक्षित रखने में मदद मिलेगी.
साइबरसिक्यूरिटी कार्यबल के कौशल को बेहतर बनाने के लिए, हम उनके साथ अपनी विशेषज्ञता शेयर करते हैं
हमारा Google साइबरसिक्यूरिटी सर्टिफ़िकेटसाइबरसिक्यूरिटी के क्षेत्र में, शुरुआती लेवल की नौकरियों के लिए ज़रूरी कौशल सिखाता है. इस सर्टिफ़िकेट कोर्स को Google के साइबरसिक्यूरिटी विशेषज्ञों ने बनाया है और वे ही इसकी ट्रेनिंग भी देते हैं. इस ऑनलाइन ट्रेनिंग प्रोग्राम के लिए किसी तरह के अनुभव की ज़रूरत नहीं है और इसे छह महीनों में पूरा किया जा सकता है. इस सर्टिफ़िकेट प्रोग्राम में सामान्य जोखिमों, खतरों, और जोखिम की आशंका की पहचान करने और उन्हें कम करने के तरीके के बारे में सिखाया जाता है.
सायबर हमलों से सुरक्षित रहने के लिए कौशल बढ़ाना
Google.org की ओर से, द एशिया फ़ाउंडेशन को 1 करोड़ 50 लाख अमेरिकी डॉलर दिया जा रहा है. इसका इस्तेमाल आगे बढ़ने के लिए संघर्ष कर रहे 3 लाख छोटे कारोबारों और एनजीओ के सायबर कौशलों को बढ़ाने के लिए किया जाएगा. ऐसा कौशल बढ़ाने वाले कार्यक्रम और पायलट सायबर क्लीनिक के ज़रिए किया जाएगा. साथ ही, इससे स्टूडेंट को सायबर कौशल बेहतर बनाने के असल मौके मिलेंगे.
Google.org की ओर से नैशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ सायबर सिक्योरिटी को भी 1 करोड़ अमेरिकी डॉलर दिया जा रहा है, ताकि आगे बढ़ने के लिए संघर्ष कर रहे संगठनों के सायबर कौशलों को बेहतर बनाया जा सके.
साइबरसिक्यूरिटी कार्यबल को एक रात में ही आधुनिक नहीं बनाया जा सकता. हालांकि, देश की सुरक्षा प्राथमिकता के तौर पर, यह ज़रूरी है कि हम सभी इसमें अपना योगदान दें. उद्योग और सरकार के साथ काम करते हुए, हम मानते हैं कि साइबरसिक्यूरिटी कार्यबल को, हम मज़बूत और ज़्यादा समावेशी बना सकते हैं. साथ ही, उनमें ऐसी विशेषज्ञता पैदा की जा सकती है जिससे सायबर क्षेत्र में लगातार होने वाले बदलावों को समझने और एक सुरक्षित दुनिया बनाने में मदद मिल सके.